भौतिक राशियाँ (अदिश एवं सदिश) | Vector and Scalar Quantities

विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं में बार-बार पूछे जाने वाले भौतिक विज्ञान के अंतर्गत कुछ भौतिक राशियों का अध्ययन- अदिश एवं सदिश राशियाँ (Vector and Scalar Quantities) की महत्वपूर्ण जानकारी बताया गया है। जिसमें भौतिक राशियाँ क्या है? और उनके प्रकार, परिभाषा, उदाहरण सहित समझाया गया है।

जैसे- भौतिक राशियों के प्रकार (Types of Physical Quantities) – अदिश राशि और सदिश राशि एवं उन राशियों के गुण भिन्नता, उदाहरण दी गई है। साथ ही, अदिश और सदिश राशियों में अंतर (Difference Between Vector and Scalar Quantities) बताया गया है।

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जिसे कोई संख्यात्मक मान दिया जा सकता है, उसे राशि कहते हैं तथा जिन राशियों के पदों में भौतिक विज्ञान का वर्णन किया जाता है, उन्हें भौतिक राशियाँ (Physical Quantity) कहते हैं।

जैसे- लंबाई, द्रव्यमान, क्षेत्रफल, समय, वेग, त्वरण, ऊर्जा, विद्युत ऊर्जा इत्यादि भौतिक राशियाँ हैं।

उदाहरण- 1) किसी छात्र का किसी विषय में प्राप्तांक एक राशि को व्यक्त करता है, लेकिन किसी शहर अथवा किसी वस्तु का तापमान एक भौतिक राशि होगी।

2) किसी वस्तु का मूल्य एक राशि है, किन्तु किसी वस्तु का द्रव्यमान अथवा भार एक भौतिक राशि है।

भौतिक राशियाँ 02(दो) प्रकार की होती है-

  • अदिश राशियाँ (Scalar Quantity)
  • सदिश राशियाँ (Vector Quantity)

वे भौतिक राशियाँ जिनमें केवल परिणाम होता है, दिशा नहीं उन्हें स्केलर या अदिश राशियाँ (Scalar Quantities) कहते हैं अर्थात् अदिश राशियाँ केवल परिणाम दर्शाती हैं दिशा नहीं।

जैसे – लंबाई, दूरी, द्रव्यमान, समय, क्षेत्रफल, आयतन, कार्य, शक्ति, चाल, आवेश, दाब, ताप, विभव इत्यादि।

उदाहरण- 1) यदि किसी टेबल की लंबाई 7 मीटर हो, तो यह लंबाई उस टेबल के केवल परिमाण को व्यक्त करती है, अतः लंबाई एक अदिश या स्केलर राशि होगी।

2) यदि किसी वस्तु का द्रव्यमान 5 किलोग्राम है तो 5 किलोग्राम की मात्रा उस वस्तु के केवल परिमाण को दर्शाती है, दिशा को नहीं, अतः द्रव्यमान एक अदिश राशि होगी।

वे भौतिक राशियाँ जिनमें परिमाण एवं दिशा दोनों होती हैं, सदिश या वेक्टर राशियाँ (Vector Quantities) कहलाती है।

जैसे – विस्थापन, वेग, त्वरण, संवेग, बल, भार, चुम्बकीय क्षेत्र इत्यादि।

सदिश राशियों को व्यक्त करने हेतु निम्न 03 (तीन) बिन्दु आवश्यक होते हैं।

(अ) राशि का परिणाम (Magnitude of Quantity)
(ब) राशि की दिशा (Direction of Quantity)
(स) राशि का मात्रक (Unit of Quantity)

सदिशों को निरूपित करने की मुख्यतः दो विधियां है:-

1. किसी सदिश राशि को उसके संकेत के ऊपर रेखा का तीर लगाकर प्रदर्शित किया जाता है। तीरयुक्त सरल रेखा की लंबाई उपयुक्त पैमाने पर सदिश के परिमाण के तुल्य होती है तथा तीर की दिशा सदिश राशि की दिशा को व्यक्त करती है।

2. सदिश राशि को अंग्रेजी के छोटे या बड़े अक्षरों को काला या मोटा लिखकर भी निरूपित करते है।

(अ) अदिश राशियों के गुण- अदिश राशियों में निम्न गुण होते है-

अदिश राशियाँ योग एवं गुणा के क्रम-विनिमेय नियम का पालन करती हैं, अर्थात् अदिशों के योग एवं गुणा के समय अन्य क्रम बदलने पर परिणाम अपरिवर्तित रहता है।

अदिश राशियाँ योग एवं गुणा के साहचर्य नियम का पालन करती है, अर्थात् इनका समूह बदलने से परिणाम नहीं बदलता है।

3. अदिश राशियों को जोड़ना, घटाना, गुणा एवं भाग बीजीय राशियों के समान होता है।

4. दिशा परिवर्तन करने से अदिश राशियों के मान में कोई परिवर्तन नहीं होता है।

(ब) सदिश राशियों के गुण- सदिश राशियों में निम्न गुण होते हैंः-

सदिश राशियाँ योग के क्रय विनिमेय नियम का पालन करती हैं।

योग के साहचर्य नियम से दो से अधिक सदिश राशियों को किसी भी क्रम में जोड़ने पर उनका योगफल सदैव समान प्राप्त होता है। कई सदिशों का योग सदिशों के बहुभुज नियम से होता है।

3. सदिश का अदिश राशि से गुणा (Scalar Product of Two Vectors)किसी सदिश राशि में एक अदिश राशि का गुणा करने पर एक सदिश राशि प्राप्त होती है।

4. सदिश राशियों में गुणा (Vector Product of Two Vectors)- दो सदिशों का सदिश गुणनफल सदैव एक सदिश राशि होती है।

5. किसी अक्ष के परितः क्रियाशील सदिश को उसके ऊर्ध्वाधर तथा क्षैतिज घटकों में वियोजित किया जा सकता है।

भौतिक राशि के अदिश और सदिश राशियों में अंतर (Difference Between Scalar and Vector Quantity)

अदिश राशि (Scalar Quantity)सदिश राशि (Vector Quantity)
इनमें केवल परिमाण होता है, दिशा नहीं।इनमें परिमाण एवं दिशा दोनों होता है।
इनको सामान्य बीजगणित के नियमों द्वारा जोड़ा, घटाया, गुणा या भाग दिया जा सकता है।इनको सामान्य बीजगणित के नियमों के द्वारा जोड़ा, घटाया, गुणा या भाग नहीं दिया जा सकता।

ये सदिश बीजगणित के नियमों का पालन करते हैं।
इनको दो या दो से अधिक घटकों में वियोजित नहीं किया जा सकता है।इनको दो या दो से अधिक घटकों में वियोजित किया जा सकता है।

धातु, अधातु और मिश्र धातु एवं उनके घटक

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  1. Bahut achchhi post hai Sir ji or bhi aisi post late rahi or hum jaise chhatro ma ka margdarshan karte rahi